Hardoi Rape Case: उत्तर प्रदेश के जिला हरदोई में 3 साल की मासूम के साथ दुष्कर्म करने के आरोप में 5 अगस्त सोमवार को पीड़िता के ताऊ को रेप का दोषी करार कर फांसी की सजा सुनाई गयी। इस मामले में 3 साल की पीड़िता को चार साल बाद इंसाफ मिला।
बता दें कि 28 जुलाई 2020 को शाम करीब 7 बजे 3 साल की बच्ची और उसकी मां घर पर ही थी। उसी समय उसका रिश्तेदार ताऊ उम्र 30 वर्ष उसके घर आया। बच्ची को टॉफी का बहाना देकर उसे अपने घर लेकर गया। जहां उसने 3 साल की बच्ची के साथ रेप किया।
खून से लथपथ मिली मासूम
बहुत ढूढंने के बाद पीड़िता खून से लथपथ मिली। फिर पीड़िता के परिवार वालों ने उसे लखनऊ के राम मनोहर लोहिया मेडिकल कॉलेज में एडमिट कराया। पीड़िता को जब होश आया तब उसने बताया कि ताऊ ने उसके साथ गलत काम किया।
Ayodhya Rape Case: मामले को दबाने के लिए पीड़िता के परिवार को दिया गया था प्रलोभन
इसके बाद ताऊ के खिलाफ केस दर्ज कराया गया। इस घटना के बाद बच्ची की हालत बहुत खराब हो गयी। पीड़िता का प्राइवेट पार्ट बुरी तरह से घायल हो गया था। जिसके कारण बहुत लंबे समय तक बच्ची का इलाज चलता रहा।
दरिंदगी के बाद से मासूम का प्राइवेट पार्ट और मलद्वार भी एक ही हो गया। पीड़िता को मल के लिए अलग से ट्यूब डाली गई। बच्ची बच तो गई, लेकिन आज भी वो इस दर्द से उबर नहीं पायी है।
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Hardoi Rape Case: इसे मरते दम तक लटकाओ…
ये घटना थाना सांडी क्षेत्र की है। इस पूरी घटना की सुनवाई 3 साल 9 महीने और 10 दिन तक चलती रही। 8 गवाहों के बयान के बाद आरोपी को फांसी की सजा सुनाते हुई। अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश-14 मोहम्मद नसीम ने कहा कि आरोपी के गले में तब तक फांसी लगाकर लटकाया जाए, जब तक उसकी मौत न हो जाए। साथ ही हरदोई की पॉक्सो कोर्ट ने 1 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया।
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