Gupt Navratri 2024: हिंदू धर्म में नवरात्रि का विशेष महत्व है। नवरात्रि में देवी मां के नौ स्वरूपों की पूजा की जाती है। सनातन धर्म में साल में चार बार नवरात्रि का पर्व मनाया जाता है, जिसमें एक चैत्र नवरात्रि, दूसरा शारदीय नवरात्रि और दो गुप्त नवरात्रि आती हैं। तंत्र-मंत्र की साधना में लीन रहने वाले लोगों के लिए गुप्त नवरात्रि बहुत महत्वपूर्ण मानी जाती है। इस बार हिंदू पंचांग के मुताबिक आषाढ़ माह की गुप्त नवरात्रि शनिवार 6 जुलाई से शुरू हो रही है और इसका समापन सोमवार 15 जुलाई को होगा।
कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त
नवरात्रि के पहले दिन विधि-विधान के साथ घट स्थापना किया जाता है। वहीं आषाढ़ महीने की गुप्त नवरात्रि की घट स्थापना का शुभ मुहूर्त 06 जुलाई सुबह 05:11 मिनट से लेकर 07:26 मिनट तक कर सकते हैं। अगर इस मुहूर्त में कलश स्थापना नहीं कर पाते हैं तो अभिजीत मुहूर्त सुबह 11 बजे से लेकर 12 बजे तक आप कलश स्थापना कर सकते हैं।
गुप्त नवरात्रि पर गलती से भी न करें ये काम
06 जुलाई से गुप्त नवरात्रि शुरू हो रहा है। तंत्र-मंत्र की विद्या के लिए गुप्त नवरात्रि को बहुत ही महत्वपूर्ण माना जाता है। कई जातक गुप्त तरीके से माता दुर्गा की पूजा आराधना करते हैं। वहीं गुप्त नवरात्रि के दौरान सोना, चांदी, भूमि, भवन इत्यादि खरीदने का सबसे शुभ दिन होता है, लेकिन कुछ विशेष कार्य है जो गुप्त नवरात्रि में बिल्कुल भी नहीं करने चाहिए, नहीं तो जीवन पर इसका बुरा प्रभाव पड़ता है।
- गुप्त नवरात्रि पर चमड़े से बनी वस्तु का भूलकर भी उपयेग नहीं करना चाहिए।
- गुप्त नवरात्रि के दौरान व्रत रखने वालों को तामसिक भोजन नहीं करना चाहिए।
- गुप्त नवरात्रि में व्रत रखने वाले लोगों को नौ दिनों तक मांस-मदिरा का सेवन नहीं करना चाहिए।
- गुप्त नवरात्रि के दौरान बिस्तर पर नहीं सोना चाहिए।
घर के ईशान कोण में भूलकर भी न रखें ये चीजें, वरना भंग हो जाएगी सुख-शांति