श्रेष्ठ भारत (Shresth Bharat) | Hindi News

Our sites:

|

Follow us on

|

Hit and Run Update: पुलिस को सूचित करना और अस्पताल ले जाने पर नहीं होगी ड्राइवरों को सख़्त सजा


31 दिसम्बर 2023 से देश के विभिन्न हिस्सों में नए ‘हिट एंड रन’ कानून के विरोध में बस, ट्रक व कैब ड्राइवर हड़ताल कर रहे हैं। जिसके चलने से लोगों को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। बिहार, गुजरात, महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, हरियाणा, मध्यप्रदेश व पंजाब सहित कई राज्यों में हो रही हड़ताल का असर अब सामान्य जनजीवन पर पड़ने लगा है। पेट्रोल पंपों पर वाहनों की भारी भीड़ लगी है। अगर ट्रक ड्राइवरों की हड़ताल खत्म नहीं हुई, तो बाजार में रोजमर्रा की वस्तुओं की कमी हो जाएगी। केंद्र सरकार के उच्च पदस्थ सूत्रों ने इस मामले में बड़ा अपडेट दिया है। नए कानून के तहत हिट एंड रन के आरोपी को दस साल की सजा और सात लाख रुपये का जुर्माना देना होगा।

केंद्र सरकार के सूत्रों ने बताया, हिट एंड रन के मामले में ट्रक, बस या किसी अन्य वाहन का चालक अगर घटनास्थल से कुछ दूर जाकर पुलिस को सूचित करता है, घायल व्यक्ति की जानकारी देता है और खुद की पहचान के बारे में पुलिस को स्पष्ट तौर पर बता देता है, तो उसके खिलाफ उक्त सख्त कानून लागू नहीं होगा। उसे पुलिस को यह आश्वासन देना होगा कि उसे जहां भी, जब भी इस मामले में बुलाया जाएगा।

शीतकालीन संत्र के दौरान संसद में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने इस कानून के बारे में बताया था कि सरकार ने उन लोगों के लिए सख्त दंड का प्रावधान किया है, जो सड़क दुर्घटना करने के बाद मौके से भाग जाते हैं। उस स्थिति में पीड़ित को मरने के लिए छोड़ दिया जाता है। ऐसे आरोपियों के खिलाफ नए हिट एंड रन कानून के प्रावधान लागू होंगे। मौजूदा भारतीय दंड संहिता में ऐसा कोई प्रावधान नहीं है।

हिट एंड रन केस में अगर ड्राइवर, बिना सूचना दिए भाग जाता है, तो उसे 10 साल तक की सजा मिलेगी। इसके अलावा सात लाख रुपये जुर्माना भी देना होगा। केंद्र सरकार के सूत्रों ने बताया, ऐसा नहीं है। यह दंड केवल उन चालकों के लिए है, जो हिट एंड रन के बाद मौके से फरार हो जाते हैं। इस मामले में ड्राइवरों का मत है कि वे घटनास्थल पर ठहरेंगे तो लोगों की भीड़ उन्हें मार डालेगी। इस बात को ध्यान में रखते हुए यह प्रावधान किया गया है कि अगर कोई चालक हिट एंड रन के बाद कुछ किलोमीटर दूर जाकर गाड़ी रोक लेता है और हेल्पलाइन नंबर 108 के माध्यम से पुलिस को घटना की सारी जानकारी देता है और पीड़ित को अस्पताल पहुंचाने का आग्रह करता है तो उसके साथ सख्ती नहीं होगी। उस चालक को अपनी सारी जानकारी पुलिस को बतानी होगी। इसके बाद उस चालक के खिलाफ सामान्य धारा के तहत केस दर्ज होगा। इस तरह के केस में उन लोगों के लिए कुछ उदारता दिखाई जाएगी, जो खुद से पुलिस को सूचित करेंगे और घायलों को अस्पताल ले जाएंगे।

भारतीय न्याय संहिता के तहत खंड 106(1) में सजा 2 साल से बढाकर 5 साल की गई है। खंड 106(2) में ‘हिट एंड रन’ मामलों में 10 साल की सजा का प्रावधान किया गया है। हिट एंड रन मामले में जो प्रावधान बढ़ाया गया है 10 साल तक, ये सुप्रीम कोर्ट के ‘ऑब्जरवेशन’ के तहत लिखा गया है।

सुप्रीम कोर्ट ने एक से ज्यादा मामले में कहा है कि वाहन चालक जो लापरवाही से गाड़ी चलाते हैं और सड़क पर दुर्घटना करके जिसमें किसी की मौत हो जाती है, वहां से भाग जाते हैं तो ऐसे लोगों के ऊपर कार्यवाही सख़्त होनी चाहिएl BNS के सब-सेक्शन 106 (1) और सब-सेक्शन 106 (2) से यह स्पष्ट होता है कि यदि व्यक्ति घटना के तुरंत बाद किसी पुलिस अधिकारी या मजिस्ट्रेट को लापरवाही से गाड़ी चलाने से मौत की घटना की रिपोर्ट करता है, तो उस पर सब-सेक्शन 106 (2) की जगह सब-सेक्शन 106 (1) के तहत आरोप लगाया जाएगा, जिसमें 5 साल तक की सजा है, जबकि सब-सेक्शन 106(2) के तहत 10 साल के सजा का प्रावधान है। धारा 106 (1) अभी भी एक जमानती अपराध है, और धारा 106 (2) को गैर-जमानती बनाया गया है।


संबंधित खबरें

वीडियो

Latest Hindi NEWS

IND vs PAK match
भारत और पाकिस्तान के बीच मुकाबला कल, जानें दोनों टीमों की ताकत और कमजोरियां
aus vs eng
AUS और ENG के बीच मुकाबला शुरू, स्टीव स्मिथ ने टॉस जीतकर चुनी गेंदबाजी
Delhi CM Rekha Gupta Meet PM Modi
CM रेखा गुप्ता ने PM मोदी से की मुलाकात, बुनियादी ढांचे में सुधार पर की चर्चा
explosives and weapons
छत्तीसगढ़ में सुरक्षाबलों का नक्सलियों के खिलाफ बड़ा एक्शन, बरामद किए विस्फोटक और हथियार
Chhattisgarh Road Accident
छत्तीसगढ़ में कार दुर्घटना में दो लोगों की मौत, चार घायल
World Thinking Day 2025
आज है विश्व चिंतन दिवस 2025, जानें कब हुई थी इसकी शुरुआत