Aman Sehrawat: भारत को पेरिस ओलंपिक में छठा मेडल दिलाने वाले अमन सहरावत की जमकर तारीफ हो रही है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि गुरुवार को सेमीफाइनल में हारने के बाद अमन को एक बड़ी चुनौती का सामना करना पड़ा था। सेमीफाइनल मैच के बाद अमन का वजन 4.5 किलो बढ़ गया था। उनका वजन 61.5 किलोग्राम हो गया था।
कांस्य पदक जीतने के लिए अमन को अपने बढ़े हुए वजन को कम करना था। नहीं तो उन्हें भी विनेश फोगाट की तरह एक झटके में ही अयोग्य घोषित कर दिया जाता। इससे बचने के लिए दृढ़ संकल्पित सहरावत और उनके कोचों ने एक गहन वजन घटाने के मिशन की शुरुआत की।
अमन सहरावत ने ऐसे कम किया अपना वजन
भारत के वरिष्ठ कोचों जगमंदर सिंह और वीरेंद्र दहिया ने अमन की मदद की। लगभग 6:30 बजे जापान के री हिगुची से हारने के बाद अमन (Aman Sehrawat) के पास बहुत कम समय बचा था। इसके बाद अमन ने मिशन की शुरुआत की। इस मिशन की शुरुआत एक-डेढ़ घंटे के मैट सत्र के साथ हुई, जिसमें खड़े होकर कुश्ती पर ध्यान केंद्रित किया गया, इसके बाद अमन एक घंटे तक गर्म पानी से नहाए।
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इसके बाद रात करीब 12:30 बजे अमन जिम में चले गए, जहां वो एक घंटे तक ट्रेडमिल पर लगातार दौड़े। 30 मिनट के ब्रेक के बाद उन्होंने पांच मिनट के सौना स्नान के पांच सत्रों को पूरा किया।
तमाम कोशिशों के बाद भी नहीं कम हुआ था वजन
तमाम कोशिशों के बाद भी अमन का वजन सीमा से 900 ग्राम अधिक था। बचा हुआ वजन कम करने के लिए अमन को मालिश मिली और हल्के जॉगिंग में शामिल किया गया। उसके बाद पांच 15 मिनट के दौड़ने के सत्र थे।
फिर सुबह 4:30 बजे तक अमन का वजन 56.9 किलोग्राम यानी सीमा से 100 ग्राम कम था। इन सत्रों के दौरान उन्होंने नींबू और शहद के साथ गर्म पानी और थोड़ी सी कॉफी का सेवन किया।
दहिया ने विनेश को लेकर कही ये बात
इसके बारे में बार करते हुए अमन ने कहा “मैंने पूरी रात कुश्ती मुकाबलों के वीडियो देखे। कोच दहिया ने भी कहा कि हम हर घंटे उनके वजन की जांच करते रहे। हम पूरी रात सोए नहीं, दिन में भी नहीं।”
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विनेश फोगाट के महिलाओं की 50 किलोग्राम फाइनल में 100 ग्राम अधिक वजन होने के कारण अयोग्य घोषित कर दिया गया है। इस पर बात करते हुए दहिया ने कहा कि वजन कम करना हमारे लिए नियमित है, लेकिन विनेश के साथ जो हुआ उसके कारण बहुत तनाव था। हम एक और पदक से चूक नहीं सकते थे।