आज वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के अंतरिम बजट भाषण को “चुनावी भाषण” करार देते हुए कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने कहा कि बजट भाषण में कुछ भी नया नहीं था और किसी भी उपाय की घोषणा नहीं की गई थी। बढ़ती महंगाई की मार झेल रही आम जनता को राहत प्रदान करें।
#WATCH | On interim Budget, Congress leader Sachin Pilot in Jaipur says, "The Finance Minister's speech sounded like an election speech. The President's address was also used as political speech." pic.twitter.com/z2WRs5AMWw
— ANI (@ANI) February 1, 2024
कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने कहा कि यह स्पष्ट है कि आपको अपनी ही सरकार की प्रशंसा करनी होगी, लेकिन मुझे उम्मीद थी कि कुछ राहत उपाय हो सकते हैं। बढ़ती मुद्रास्फीति या रोजगार से संबंधित मुद्दों को संबोधित करने के लिए कुछ भी नहीं था। यह अधिक था आत्म-प्रशंसा का। बजट में कुछ भी नया नहीं था। मध्यम वर्ग, किसानों या छात्रों के लिए कोई राहत नहीं। राष्ट्रपति के अभिभाषण को राजनीतिक भाषण के रूप में भी इस्तेमाल किया गया।
निर्मला सीतारमण ने आज लोकसभा में अंतरिम बजट 2024-25 पेश किया और कहा कि इन चार वर्गों की जरूरतें और कल्याण उनकी सरकार में सर्वोच्च प्राथमिकता रखते हैं। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज इस बात पर प्रकाश डाला कि प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार चार प्रमुख जातियों – गरीब (गरीब), महिलायेन (महिला), युवा (युवा) और अन्नदाता (किसान) पर ध्यान केंद्रित करने में विश्वास करती है।
वित्त मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री के नेतृत्व में सरकार दृढ़ता से चार प्रमुख जातियों यानी ‘गरीब’ (गरीब), ‘महिलाएं’ (महिला), ‘युवा’ (युवा) और ‘अन्नदाता’ (किसान) पर ध्यान केंद्रित करने में विश्वास रखती है। उनकी जरूरतें, उनकी आकांक्षाएं और उनका कल्याण हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। जब वे प्रगति करते हैं तो देश प्रगति करता है। इन चारों को अपने जीवन को बेहतर बनाने के लिए सरकारी सहायता की आवश्यकता है और उन्हें सरकार की सहायता मिलती है। उनका सशक्तिकरण और कल्याण देश को आगे बढ़ाएगा।