दिल्ली: लैंड फॉर जॉब मामले में ED ने अपना बयान जारी किया है। ED के मुताबिक पुख्ता जानकारी के आधार पर दिल्ली एनसीआर, पटना, मुंबई, रांची में 24 लोकेशन पर सर्च की गई थी जहा से ED को करीब 1 करोड़ रुपए कैश, 1900 यूएस डॉलर, 540 ग्राम गोल्ड, और डेढ़ किलो गोल्ड जूलरी समेत कुछ आपत्तिजनक दस्तावेज बरामद हुए हैं।
ED को तफ्तीश के दौरान पता चला कि करीब 600 करोड़ रुपए में से 350 करोड़ की अचल संपत्ति खरीदी गई और 250 करोड़ रुपए बेनामी प्रॉपर्टी के जरिये रूट्स किये गए। जांच के दौरान पता चला की इसमें ज्यादातर जमीन पटना के पॉश इलाकों में गलत तरीके से तत्कालीन रेलवे मंत्री लालू यादव के जरिये रेलवे में जॉब देने के नाम पर हड़पी गई जिनकी आज के दौर में कीमत 200 करोड़ रुपए है। बेनामी प्रॉपर्टी जिनके नाम पर है औऱ शेल कंपनी जिनके नाम है और जिन्हें फायदा पहुंचाया गया उनकी पहचान की गई है।
दिल्ली स्थित न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी का बंगला वो मेसर्स AB एक्सपोर्ट PVT के नाम पर है जबकि असल मे उस पर कंट्रोल तेजस्वी यादव और उनके परिवार का है। कागजों में इस प्रॉपर्टी की कीमत महज 4 लाख दिखाई गई जबकि असल कीमत इस बंगले की 150 करोड़ रुपए है।
जांच एजेंसी को शक है कि इस बंगले और मुंबई की प्रॉपर्टी को खरीदने में में ज्यादातर कैश का इस्तेमाल किया गया है। इसके अलावा गहनों को भी खरीदने में कैश का ही इस्तेमाल किया गया। जांच के दौरान पता चला हड़पी गई जमीन के चार टुकड़े ऐसे थे जो साढ़े सात लाख रुपए में ग्रुप D की जॉब दिलाने में खरीदी गई और उसे बाद में RJD पूर्व विधायक अबू दुजाना को साढ़े तीन करोड़ रूपये में बेच दी। ये पैसे ज्यादातर तेजस्वी के A/C में ट्रांसफर हुए।
ED के मुताबिक रेलवे के ग्रुप D में जॉब दिलाने के नाम पर गरीब तबके के लोगों से भी जमीन हड़प ली गई। तफ्तीश में सामने आया है कि कई रेलवे ज़ोन में 50 परसेंट से ज्यादा जॉब पाने वाले कैंडिडेट लालू यादव के परिवार के विधानसभा इलाके से थे।