मध्य प्रदेश के श्योपुर जिले में स्थित कूनो नेशनल पार्क में नामीबिया से आए एक और चीता शौर्य की मौत हो गई है। मौत के कारणों की जांच के लिए पोस्टमॉर्टम कराया जा रहा है। प्रोजेक्ट चीता के तहत सितंबर 2022 में आठ चीतों को नामीबिया से और 2023 की शुरुआत में 12 चीतों को दक्षिण अफ्रीका से लाया गया था। अब तक 10 चीतों की मौत हो चुकी है। आखिरी बार कूनो में चीता की मौत की खबर दो अगस्त 2023 को आई थी और अब उसके छह महीने बाद एक और चीते के मौत की खबर आई है।
लॉयन प्रोजेक्ट के हवाले से जारी प्रेस नोट में बताया गया कि मंगलवार सुबह करीब 11 बजे नामीबिया से आया चीता अचेत अवस्था में मिला था। मॉनिटरिंग टीम तत्काल हरकत में आई। उसे ट्रैंकुलाइज किया गया। कुछ देर के लिए तो उसे होश आया लेकिन कमजोरी बहुत अधिक थी। रिवाइवल के बाद भी कुछ जटिलताएं उभर आई और उसने सीपीआर को रिस्पॉन्ड करना बंद कर दिया।
कूनो नेशऩल पार्क में मंगलवार को एक और चीते की मौत के बाद चीतों की तादाद घटकर 14 हो गई है। इसमें चार शावक भी शामिल है। तीन हफ्ते पहले ही नामीबिया से लाई गई मादा चीता आशा ने तीन शावकों को जन्म दिया था। इससे पहले मार्च 2023 में भी एक मादा चीता ने चार शावकों को जन्म दिया था। उनमें से तीन की मौत कुछ ही महीनों में हो गई थी। पोस्टमॉर्टम के बाद ही मौत के कारणों का पता चल सकेगा।
कूनो नेशनल पार्क के खुले जंगल में चार चीते हैं। इनमें एक मादा चीता वीरा और तीन नर चीते अग्नि, वायु और पवन चीता शामिल हैं। इनमें अग्नि और पवन नाम के चीते कूनो नेशनल पार्क से बाहर बफर जोन और आसपास के गांवों में विचरण करते मिले थे। इन्हें फिर से कूनो की सीमा में लाया गया था। इससे पहले 2023 की गर्मियों में चीतों को खुले जंगल में छोड़ा गया था। तब इंफेक्शन की वजह से चीतों की मौतें हुई थी। तब सभी चीतों को फिर से बाड़े में लाया गया था।
अब तक कुल कितने चीतों की हुई मौत
26 मार्च 2023: मादा साशा , 23 अप्रैल 2023: नर चीता उदय , 9 मई 2023: मादा चीता दक्षा की मेटिंग के दौरान
23 मई 2023: ज्वाला के एक शावक , 25 मई 2023: ज्वाला के दो और शावकों, 11 जुलाई 2023: आपसी संघर्ष में नर चीता तेजस, 14 जुलाई 2023: आपसी संघर्ष में नर चीता सूरज, 02 अगस्त 2023: इंफेक्शन से मादा चीता धात्री